
खुशी टाइम्स/जबलपुर। डिजिटल युग में मोबाइल, लैपटॉप और टीवी का अत्यधिक उपयोग अब बच्चों की आंखों की सेहत पर भारी पड़ने लगा है। शहर के गौरीघाट क्षेत्र में आयोजित विशेष नेत्र परीक्षण शिविर में यह गंभीर खुलासा हुआ कि छोटे बच्चों की दृष्टि क्षमता पर डिजिटल डिवाइसेज़ का नकारात्मक असर पड़ रहा है।
इस नेत्र परीक्षण शिविर का आयोजन मानव अधिकार एवं अपराध नियंत्रण संगठन और साईं शिवा नेत्रालय के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। इसमें कुल 2000 स्कूली बच्चों की आंखों की जांच की गई। जांच में सामने आया कि बड़ी संख्या में बच्चे आंखों में थकावट, धुंधलापन, जलन और नजर कमजोर होने की समस्या से जूझ रहे हैं। डॉ. अजय वाधवानी (अध्यक्ष, मानव अधिकार एवं अपराध नियंत्रण संगठन) ने बताया कि बच्चों के लगातार स्क्रीन पर समय बिताने से आंखों पर दबाव बढ़ रहा है, जिससे कम उम्र में ही उन्हें चश्मा लगाने की जरूरत पड़ रही है। कई मामलों में बच्चों को सिरदर्द और एकाग्रता में कमी जैसी समस्याएं भी देखने को मिलीं।

इस नेत्र जांच शिविर में राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. अमित सिसोदिया के मार्गदर्शन में डॉ. आशीष नेमा, भावना निगम, आशीष त्रिपाठी, अरविंद पाठक और डॉ. अभिषेक जैन ने सक्रिय भूमिका निभाई। आयोजकों ने बताया कि इस अभियान का उद्देश्य बच्चों में नेत्र स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता बढ़ाना और समय रहते आंखों की बीमारियों को पहचान कर उनका उपचार सुनिश्चित करना है।
इस नेत्र परीक्षण शिविर का आयोजन मानव अधिकार एवं अपराध नियंत्रण संगठन और साईं शिवा नेत्रालय के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। इसमें कुल 2000 स्कूली बच्चों की आंखों की जांच की गई। जांच में सामने आया कि बड़ी संख्या में बच्चे आंखों में थकावट, धुंधलापन, जलन और नजर कमजोर होने की समस्या से जूझ रहे हैं। डॉ. अजय वाधवानी (अध्यक्ष, मानव अधिकार एवं अपराध नियंत्रण संगठन) ने बताया कि बच्चों के लगातार स्क्रीन पर समय बिताने से आंखों पर दबाव बढ़ रहा है, जिससे कम उम्र में ही उन्हें चश्मा लगाने की जरूरत पड़ रही है। कई मामलों में बच्चों को सिरदर्द और एकाग्रता में कमी जैसी समस्याएं भी देखने को मिलीं।

डॉक्टरों की सलाह:
- मोबाइल, लैपटॉप और टीवी का उपयोग 20 मिनट से अधिक न करें।
- बिना विशेषज्ञ की सलाह के कोई भी आंखों की दवा या ड्रॉप न डालें।
- पढ़ाई में किताबों का उपयोग बढ़ाएं और स्क्रीन टाइम सीमित करें।
- पर्याप्त नींद लें, योग करें और रात में सोने से पहले आंखें धोने की आदत डालें।
इस नेत्र जांच शिविर में राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. अमित सिसोदिया के मार्गदर्शन में डॉ. आशीष नेमा, भावना निगम, आशीष त्रिपाठी, अरविंद पाठक और डॉ. अभिषेक जैन ने सक्रिय भूमिका निभाई। आयोजकों ने बताया कि इस अभियान का उद्देश्य बच्चों में नेत्र स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता बढ़ाना और समय रहते आंखों की बीमारियों को पहचान कर उनका उपचार सुनिश्चित करना है।
@रहमान
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